स्वस्थ (हेल्थी) रहने के लिए क्या करना चाहिए या (हेल्थी) स्वस्थ रहने के लिए क्या खाना चाहिए?
हेल्दी रहने के लिए क्या क्या करे?
ताउम्र स्वस्थ रहने के लिए प्रकृति और शरीर के बीच संतुलन बनाए रखना बेहद जरूरी है। आप जितना प्रकृति के करीब रहेंगे, प्राकृतिक उपायों को अपनी जीवनशैली में शामिल करेंगे, उतने ही ज्यादा शारीरिक और मानसिक रूप से सेहतमंद रहेंगे। इसके लिए पर्याप्त मात्रा में शुद्ध जल, गहरी सांस के जरिए ऑक्सीजन लेना, योग एवं ध्यान करना, हरी पत्तेदार सब्जियों एवं मौसमी फलों का सेवन करना, मसालेदार भोजन से परहेज करना, नशे से दूर रहना जरूरी है।
क्या कहते हैं आंकड़े
- 45% लोग भारत में शाकाहारी भोजन को तवज्जो देते हैं और स्वस्थ जीवन जीते हैं।
- 70% मानव शरीर में जल होता है। ऐसे में शरीर की जरूरत के अनुसार पानी पीना चाहिए।
- योग से आंतरिक अंगों की कसरत होती है। इन अंगों में ऑक्सीजन रक्त की आपूर्ति बढ़ाता है।
खुली हवा में लें
सांस ऑक्सीजन शरीर की प्रत्येक कोशिकाओं एव अंगों को स्वस्थ और चुस्त-दुरुस्त रखने के लिए आवश्यक है। ऑक्सीजन से जीवन है। शरीर के मेटाबॉलिज्म के लिए आवश्यक है, लेकिन आस-पास ऑक्सीजन शुद्ध होनी चाहिए। प्रदूषित वातावरण में सांस लेना हमें बिमार कर सकता है। सबसे अच्छी गुणवत्ता की वायु सुबह के समय पार्क या ऐसे स्थान जहां पर वृक्ष अधिक होते हैं, पाई जाती है। रोज सुबह इन जगहों पर कुछ देर बैठकर गहरी सांस लें। इससे फेफड़ों को मजबूती मिलती है। सांस रोग एवं क्रॉनिक ब्रॉन्काइटिस से पीड़ित व्यक्तियों के लिए बहुत फायदेमंद होती है। शुद्ध हवा में गहरी सांस लेने से मस्तिष्क तरोताजा होती है। ऐसा इसलिए, क्योंकि मस्तिष्क की कोशिकाओं को स्वस्थ रखने के लिए भी ऑक्सीजन की जरूरत होती है।
हेल्थ टॉनिक है योग
योग और ध्यान शरीर एवं मस्तिष्क के लिए हेल्थ टॉनिक की तरह होता है। विज्ञान के अनुसार, जब शरीर और मस्तिष्क कुछ समय के लिए अपने रोजमर्रा के कार्य को बंदकर ध्यान करे, तो इससे काफी फायदे होते हैं। ध्यान के फायदे अन्तहीन हैं। योग निद्रा करें। यह हमें तनाव एवं अवसाद से बचाए रखने में मदद करता है। योग और ध्यान से । आप आन्तरिक अंगो को नयापन व ऊर्जावान बनाए रखते हैं। योग से आन्तरिक अंगों की कसरत होती है। इन अंगों में ऑक्सीजन रक्त की आपूर्ति को बढ़ाता है। शरीर के मेटाबॉलिक एवं ग्रन्थि तंत्र के लिये फायदेमंद होता है। ध्यान से तनाव को बढाने वाले हार्मोन में कमी आती है। ध्यान तनाव बढ़ाने वाले हार्मोन को नियंत्रित करता है। मस्तिष्क में डोपामिन एवं सिरोटोनिन हॉर्मोस का सामान्य स्तर बनाए रखता है। इन हॉर्मोस के स्तर के बढ़ने या घटने से कई तरह की मानसिक एवं मनोवैज्ञानिक रोगों के होने की संभावना बढ़ जाती है।
पानी पीते रहें
मानव शरीर में लगभग 70 फीसदी जल होता है। अतः जरूरी है कि अपने शरीर की जरूरत के हिसाब से पर्याप्त पानी पिएं। ध्यान रखें, पानी शुद्ध होना चाहिए। जल हानिकारक एवं ऐसे तत्वों को शरीर से बाहर निकालता है, जिनकी शरीर को जरूरत नहीं होती है। यह शरीर की आन्तरिक सफाई करता है। शरीर के उत्सर्जन तंत्र को स्वस्थ रखता है। इतना ही नहीं यह शरीर के तापमान को नियंत्रित रखने में भी मदद करता है।
अच्छे स्वास्थ के लिए व्यायाम
व्यायाम व्यक्ति के मूड, सेहत, वजन और बेहतर जीवन जीने के लिए फायदेमंद होता है। ऐसे में तेज चलना या कार्डियोरेस्परेटरी एक्सरसाइज जैसे जॉगिंग या ट्रेडमिल पर दौड़ने के लिए समय निकालें। सप्ताह में पांच से छह दिन चार से पांच किलोमीटर तेज चलना जरूरी होता है। कार्डियोरेस्परेटरी एक्सरसाइज वह होती है, जो व्यक्ति की हृदय गति और सांस की गति को बढ़ाती है। हल्के-फुल्के से लेकर मध्यम दर्जे का व्यायाम व्यक्ति के रक्तचाप, शुगर और कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करने में सहायक होता है। व्यायाम व्यक्ति के मनोविज्ञान को भी मजबूत और सकारात्मक बनाता है। इससे मस्तिष्क स्वस्थ रहता है। रोगों से लड़ने की क्षमता को बढ़ाता है। शरीर की चर्बी को कम करता है।
शाकाहारी बनें
शाकाहारी भोजन हमेशा मांसाहारी भोजन से बेहतर होता है। इसमें फाइबर और अनसैचुरेटेड फैट ज्यादा होता है। ऐसा भोजन, जिसमें रेशे अधिक होते हैं, कब्ज एवं कुछ हद तक उदर के कैंसर से बचाव करता है। मांसाहारी भोजन में पाया जाने वाला सैचुरेटेड फैट कोलेस्ट्रॉल के स्तर को बढ़ाता है। धमनियों में रुकावट डालता है।
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