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2022-03-20

डाटा साइंस जॉब - Data Science Kya Hota Hai | Data Science Me Career Kaise Banaye

डाटा साइंस कोर्स क्या है इन हिंदी या डाटा साइंस में करियर कैसे बनाए, सैलरी व जॉब अवसर के बारे मे


डाटा साइंस क्या होता है?


एडुटेक कंपनी ग्रेट लर्निग के एक अध्ययन के अनुसार, कोरोना संकट के बाद एनालिटिक्स और डाटा साइंस के क्षेत्र में प्रोफेशनल्स की मांग तेजी से बढ़ी है। वैसे, इस तकनीक पर आजकल पूरी दुनिया की नजरें हैं। डाटा साइंटिस्ट ही डाटा का अध्ययन करते हैं और फिर एआइ, ब्लाक चेन और मशीन लर्निंग का इस्तेमाल कर तकनीक को उन्नत बनाते हैं। तेजी से हो रही तकनीकी प्रगति की बुनियादी जरूरत होने के कारण डाटा साइंस के जानकारों के लिए अवसर तेजी से बढ़ रहे हैं।

डाटा साइंस आज के समय में करियर का सबसे अधिक डिमांडिंग विषय है। ऐसा इसलिए क्योंकि
स्मार्टफोन और इंटरनेट मीडिया के बढ़ते उपयोग से डाटा की खपत कई गुना बढ़ गई है। यह डाटा आज हर जगह है। कंपनियों के लिए यह डाटा आज के समय में अपना बिजनेस बढ़ाने का बहुत बड़ा जरिया है। कंपनियां इसी डाटा के जरिये ग्राहकों की मांग एवं उनकी पसंद आदि को आसानी से समझ पा रही हैं।

बढ़ती संभावनाएं : 


  • एरिक्सन मोबिलिटी रिपोर्ट के अनुसार, 2026 तक भारत में प्रति व्यक्ति डाटा खर्च तीन गुना बढ़ने की उम्मीद है। बिग डाटा एनालिटिक्स इंडस्ट्री रिपोर्ट के मुताबिक डाटा एनालिटिक्स का वैश्विक मार्केट 2027 तक 12.3 फिसद की दर से बढ़ने की उम्मीद है।
  • वर्तमान में तमाम बिजनेस आनलाइन माध्यम से होने के चलते आने वाले दशक में भी डाटा विशेषज्ञों की मांग बढ़ाने की उम्मीद है।

प्रमुख संस्थान


आइआइटी खड़गपुर
www.ilkop.ac.in

इंडियन इस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट, बेंगलुरु
wwwiimb.ac.in

जीएलबजाज ग्रेटर नोएडा
www.gbitm.org


प्रोग्रामिंग/मैथ्स के स्टूडेंट के लिए बेहतरः डाटा साइंस आज हर उस युवा के लिए एक बेहतर करियर विकल्प है, जो किसी भी प्रोग्रामिंग भाषा का ज्ञान रखता है और गणित के साथ बारहवीं उत्तीर्ण किया है। बाजार में डाटा साइंस की बढ़ती जरूरत को देखते हुए तमाम संस्थानों में फुलटाइम बीटेक डिग्री जैसे कोर्स कराए जा रहे हैं। अगर आनलाइन सीखना चाहें, तो सी-डैक सिंप्लीलन आदि के प्लेटफॉर्म से भी यह सीख सकते हैं।

स्किल बढ़ाकर उठाये अवसरों का फायदा


तकनीकी प्रगति और सूचना क्रांति ने चुनौतियों के साथ - साथ डाटा साइंस के रूप में अवसरों की नई राह खोल दी है। देश दुनिया मे इस विषय के जानकारों की लगातार बढ़ती मांग को देखते हुए तमाम प्रतिष्ठित संस्थाओं द्वारा इसमे फुलटाइम कोर्स शुरू किया गया है। तकनीकी जगत की बदलती जरुरतों को देखते हुए इस विषय मे रुचि रखने वाले युवाओं को कौशल युक्त बनाने की चुनौती है। संस्थान व फैकल्टी खुद को अपग्रेड रखकर स्टूडेंट्स की स्किल बढ़ाने पर समुचित ध्यान देंगे, तो इंडस्ट्री द्वारा उन्हें हाथोंहाथ लिया जा सकेगा।

2022-03-06

ई-कॉमर्स में करियर - E-commerce me career kaise banaye in hindi | career path | opportunities | scope | job qualifications in hindi

ई-कॉमर्स में करियर कैसे बनाए या ई-कॉमर्स में जॉब्स के अवसर(Options), जॉब्स पाथ (path) , स्कोप(Scope), जॉब्स डिस्क्रिप्सन (job description), जॉब्स क्वालिफ़िकेसन (job qualifications), रिक्वारमेंट(job requirements)



बेशक कोरोना संक्रमण से बचने के लिए टीकाकरण की प्रक्रिया
आरंभ हो गई है,इसके बावजूद  पहले की तरह ही सावधानी
रखने की सलाह का ध्यान रखते हुए ज्यादातर लोग
भीड़भाड़ वाले बाजारों में जाने के बजाय ऑनलाइन शॉपिंग
को ही प्राथमिकता देर हे हैं। माना जा रहा है ऑनलाइन
खरीदारी केबढ़ते चलनसे आने वाले दिनों में ई-कॉमर्स की
समझ और इससे संबंधित स्किल रखने वाले युवाओं के लिए
इसमें नौकरियों के अवसर तेजी से बढ़ेंगे...


कोरोना महामारी के कारण ग्राहकों
द्वारा ऑनलाइन शॉपिंग को तवज्जो
दिए जाने से पिछले एक साल में
ई-कॉमर्स के क्षेत्र में जबरदस्त बढ़ोत्तरी देखी गई।
मार्केट में सस्ते 4जी डेटा की उपलब्धता और नये
शॉपिंग मॉडल्स से आए इस बदलाव के चलते
ऑनलाइन खरीदारी यानी ई-शॉपिंग ने ई-कॉमर्स
को तेजी से विस्तारित किया है। देश की प्रमुख
ई-कॉमर्स कंपनी फ्लिपकार्ट के अनुसार, वर्ष
2020 में दशहरा-दीपावली के त्योहारी सीजन में
ई-प्लेटफॉर्स के जरिए खरीदारी में पिछले वर्ष
| 2019 के त्योहारी सीजन की तुलना में लगभग
50 फीसद की बढ़ोत्तरी देखी गई। यही वजह है
कि कोविड-19 के बीच वर्ष 2020 में देश भर में
रोजगार घटने की चुनौतियों के बीच ई-कॉमर्स
कंपनियां बड़े पैमाने पर नई नियुक्तियां करते हुए
भी दिखाई दी। दुनिया की प्रमुख ई-कॉमर्स कंपनी
अमेजन का कहना है कि उसके द्वारा वर्ष 2025
तक भारत में दस लाख नये रोजगार के मौके
सृजित किए जाएंगे।

ई-कॉमर्स में बढ़ रहा रोजगार: कोरोना वायरस
संक्रमण के डर के बीच ऑनलाइन ही उत्पादों के
कैटलॉग चेक करने और एक क्लिक पर सामान
की डिलीवरी घर तक होने की सुविधा ने ई-शॉपिंग
और ई-कॉमर्स को तेजी से बढ़ाया है। विश्व प्रसिद्ध
ग्लोबल डाटा एजेंसी स्टेटिस्टा द्वारा कोविड-19
के बाद जिंदगी में आए बदलाव पर की गई स्टडी
के मुताबिक, 46 फीसद लोगों का मानना है कि
वे अब भीड़भाड़ में नहीं जाएंगे। भारत में भी
उपभोक्ताओं की आदत और व्यवहार को देखते
हुए ऑनलाइन खरीदारी छलांग लगाकर आगे
बढ़ती हुई दिखाई दे रही है।
भारत के ई-कॉमर्स बाजार की बात करें तो 27
फीसद सालाना की दर से बढ़ते हुए इस कारोबार
के वर्ष 2024 तक 99 अरब डॉलर तक पहुंच जाने
की उम्मीद है। ई-कॉमर्स में आए बूम के कारण
इस सेक्टर में डिलीवरी ब्वॉय से लेकर सप्लाई
चेन मैनेजमेंट, कंटेंट डेवलपमेंट, रिटेल मैनेजमेंट,
मार्केटिंग तथा फाइनेंस में प्रशिक्षित लोगों के लिए
बड़ी संख्या में मौके लगातार सामने आ रहे हैं।

कैसे बनाएं करियर: ई-कॉमर्स के क्षेत्र में करियर
बनाने की शुरुआत बारहवीं के बाद ही की जा

सकती है। बारहवीं के बाद ई-कॉमर्स में सर्टिफिकेट
या वेब और ई-कॉमर्स टेक्नोलॉजी में सर्टिफिकेट
से लेकर बैचलर ऑफ ई-कॉमर्स, बैचलर ऑफ
विजनेस एडमिनिस्ट्रेशन इन ई-कॉमर्स जैसे
पाठ्यक्रम उपलब्ध हैं। इसके अलावा, स्नातकोत्तर
स्तर के भी पाठ्यक्रम उपलब्ध हैं, जैसे कि-
एमबीए इन ई-कॉमर्स, मास्टर इन ई-कॉमर्स,
मास्टर ऑफ इंजीनियरिंग इन ई-कॉमर्स, मास्टर
ऑफ साइंस इन ई-कॉमर्स एप्लिकेशंस, पोस्ट
ग्रेजुएट डिप्लोमा इन ई-कॉमर्स एप्लिकेशंस, पीजी

डिप्लोमा इन इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी ऐंड मैनेजमेंट
इन ई-कॉमर्स, एडवांस डिप्लोमा इन वेब ऐंड
ई-कॉमर्स टेक्नोलॉजी, ई-कॉमर्स एप्लिकेशन
प्रोग्रामर, ई-कॉमर्स विजुअल एप्लिकेशन डेवलपर
आदि। इसके अलावा, इसके लिए ऑनलाइन
माध्यम से भी शॉर्टटर्म कोर्स किया जा सकता है।
उपयोगी स्किल्स: ई-कॉमर्स के क्षेत्र में करियर
बनाने के लिए ई-कॉमर्स की विशेषज्ञता के साथ-
साथ अच्छी अंग्रेजी, कंप्यूटर दक्षता, निर्णय लेने
की क्षमता, परिश्रम की प्रवृत्ति, कम्युनिकेशन व

टेक्निकल स्किल्स तथा जनसंचार से जुड़ी हुई
स्किल्स लाभप्रद होती हैं। फिलहाल, देश के
ज्यादातर विश्वविद्यालयों, विभिन्न शासकीय
कॉलेजों और निजी क्षेत्र के कई संस्थानों में
ई-कॉमर्स के सर्टिफिकेट, डिप्लोमा, डिग्री और
पोस्ट ग्रेजुएशन के कोर्स संचालित किए जा रहे हैं।
सैलरी:ई-कॉमर्स में आजकल युवाओं को अच्छी
सैलरी ऑफर हो रही है। एंट्री लेवल पर किसी भी
विभाग में आप शुरुआत में 20 से 25 हजार रुपये
तक सैलरी आराम से पा सकते हैं।




●7-8% तक ई-कॉमर्स सलाम बढ़ोतरी हुई है 4 2020 रिसर्च के अनुसार
● 27% तक ग्रोथ रेट रहने का अनुमान है अगले चार
साल तक ई-कॉमर्स सेक्टरका।
● 99अरब यूएस पहुंचने की उम्मीद की जा रही है भारतीय ई-कॉमर्स
सेक्टर के बाजार कोर्स वर्ष
2024 तक
(आइबीईएफ के अनुसार)

प्रमुख संस्थान

गुरु गोविंदसिंहदप्रस्थ यूनिवर्सिटी, दिल्ली
www.ipu.ac.in
इंदिरा गाधी ओपन यूनिवर्सिटी
नई दिल्लीwww.ignou.ac.in
•एमिटी बिजनेस स्कूल, नोएडा
www.amity.edu


ई-कॉमर्स आपदा में अवसर का बड़ा उदाहरण

देश में ई-कॉमर्स का चलन तेजी से बढ़ रहा है। पहली बार ग्राहक बने बहुतों के
लिए महामारी नेई-कॉमर्स की दुनिया खोल दी है। लोगों के खर्च करने की क्षमता
बढ़ने के साथ ई-कॉमर्स का तेजी से छलांग लगाना लाजिमी है।आज की पीढ़ी के लिए
मोबाइल उनकी छटीइंद्रिय है। इस पीढ़ी के साथ वर्तमान में स्कूल में पढ़ते बच्चे आगे जब कार्यबल का हिस्सा
बनेंगे तो उनकी भी पहली पसंदई-कॉमर्स ही होगी। इससे आने वाले 5-10 साल में हम नई सामाजिक और
आर्थिक व्यवस्था का उदय देखेंगे।तब ई-कॉमर्स में जबरदस्त तेजी आएगी।इसलिए मैं हमेशा लोगों को उभरते
क्षेत्र में करियरबनाने की सलाह देता हूं।ऐसा क्षेत्र जिसमें अगले 30-40 साल या उससे अधिक समय तक अच्छा
करियररहे।ई-कॉमर्स इसकी मिसाल ही नहीं, बल्कि इससे भी बढ़करहै जहां मार्केटिंग, टेक्नोलॉजी, सपोर्ट,
ऑपरेशंस, लॉजिस्टिक्स, मैन्युफैक्चरिंग समेत अन्य तमाम क्षेत्रों में जॉब्स की देरों संभावनाएं हैं।

2021-08-05

animation me career kaise banaye | animation career salary | animation career opportunities | animation career options

Animation Or Cartoon Career

एनिमेशन/कार्टून में कैरियर कैसे बनाए? सैलरी व ऑप्शन के बारे मे जानकारी? 


एनिमेशन, विजुअल इफेक्ट्स (वीएफएक्स)और गेमिंग के बढ़ते उपयोग को देखते हुए पिछले दिनों केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री ने अपने एक संबोधन में युवाओ से कहा किस्टार्टअप कंपनियों और युवाओं के लिए इस क्षेत्र में काम करने के लिए असीम संभावनाएं हैं। यह बात सच भी है। इन दिनों वीडियो गेमिंग, वेब सीरीज से लेकर बच्चों को रोचक तरीके से पढ़ाने के लिए इस तकनीक की डिमांड तेजी से बढ़ रही है। तकनीक के जरिए अपनी क्रिएटिविटी को उड़ान देना चाहते हैं,तो इस क्षेत्र में अवसरों का लाभ उठा सकते हैं...


कोरोना संकट के दौरान कई स्कूलों में बच्चों को रोचक तरीके से पढ़ाने के लिए एनिमेटेड वीडियो का इस्तेमाल देखा गया। बच्चों को यह क्रिएटिव तरीका खूब भाया। डिजिटल तरीके से खेल-खेल में पढ़ाने का यह प्रयोग काफी सराहा जा रहा है। एक अध्ययन में भी यह दावा किया गया है कि एनिमेटेड किताबें और शैक्षणिक एप बच्चों के लिए बेहद फायदेमंद हैं। वैसे भी, बच्चे एनिमेटेड कार्टून बहुत पसंद करते हैं। मिकी माउस, डोनाल्ड, टॉम ऐंड जेरी, डोरे मांट, छोटा भीम, लॉर्ड गणेशा या मोगली जैसे एनिमेटेड टीवी कार्टून की लोकप्रियता का उदाहरण हमारे सामने है। पढ़ाई में बच्चों की दिलचस्पी बढ़ाने के लिए ऐसे प्रयोगों को प्रोत्साहित किया जा रहा है। ऐसे में वह दिन दूर नहीं, जब स्कूलों में बच्चे एनिमेशन शार्ट फिल्म या कंप्यूटर गेम से पढ़ाई करते दिखाई देंगे। यही वजह है कि वीडियो गेमिंग, फिल्म और वेब सीरीज के साथ-साथ ई-लर्निंग के लिए भी एनिमेशन या वीएफएक्स जैसी तकनीकों की मांग बढ़ गई है।


कुशल पेशेवरों की डिमांड:

देश की एनिमेशन इंडस्ट्री में इनदिनों आइटी इंडस्ट्री से कहीं अधिक तेजी देखी जा रही है। यहां काम करके आप अपने सपनों को पूरा करने के साथ-साथ क्लाइंट्स से मिली तारीफों से जो संतुष्टि महसूस करेंगे, वह शायद ही आपको कहीं और मिले। यह स्किल सीखकर आप अपनी क्रिएटिविटी के दायरे को भी और अधिक बढ़ा सकते हैं। एक अनुमान के अनुसार, इस समय देश में 300 से अधिक एनिमेशन स्टूडियो हैं, जहां पर 15 हजार से अधिक एनिमेशन प्रोफेशनल्स अपनी सेवाएं दे रहे हैं। लेकिन बढ़ती जरूरतों को देखते हुए आज भी यहां क्वालिटी एनिमेटर्स की संख्या बहुत कम है। इसलिए इसमें आगे बढ़ने के अवसर बहुत हैं।


गेमिंग और ई-लर्निंग ने बढ़ाया आकर्षण :


एनिमेशन आने के बाद से गेमिंग इंडस्ट्री में बहुत तेजी से बदलाव आया है। कुछ वर्ष पहले तक कंप्यूटर पर कंसोल की मदद से खेला जाने वाला यह गेम आज मोबाइल पर धड़ल्ले से खेला जा रहा है। इसके दर्शक भी आज करोड़ों में पहुंच गए हैं। कुल मिलाकर, मोबाइल गेम ने कुशल एनिमेटर्स की डिमांड काफी बढ़ा दी है।

वैसे, एनिमेशन और वीएफएक्स के जानकारों की मांग सरकारी और प्राइवेट दोनों क्षेत्रों के प्रतिष्ठानों में है।

फिल्म, टेलीविजन, एडवर्टाइजिंग एजेंसी, न्यूज चैनल, कार्टून प्रोडक्शन, प्रिंट-ऑनलाइन न्यूज मीडिया तथा थियेटर में इनके लिए आज भी अच्छी संभावनाएं हैं, जहां मल्टीमीडिया डेवलपर, गेम डेवलपर, कैरेक्टर डिजाइनर, फ्रेम एनिमेटर्स, उडी मॉडलर्स, ग्राफिक डिजाइनर या लेआउट आर्टिस्ट जैसे प्रोफेशनल्स की काफी डिमांड है। कोरोना काल में ई-लर्निंग पर जोर दिए जाने के बाद आने वाले समय में इस फील्ड में भी क्वालिटी एनिमेटर्स की मांग काफी बढ़ने वाली है। इस फील्ड में अपनी स्किल बढ़ाकर एनिमेटर या मल्टीमीडिया प्रोफेशनल के रूप में खुद का स्टार्टअप भी शुरू कर सकते हैं। पार्टटाइम काम करके भी अच्छी कमाई कर सकते हैं।

जरूरी स्किलः


एनिमेशन क्रिएटिव फील्ड है। इसमें हमेशा कुछ नया और इनोवेटिव करना होता है। इसलिए व्यक्ति में क्रिएटिविटी और ड्राइंग स्किल अच्छी होनी जरूरी है। साथ ही, एनिमेशन में हो रहे तकनीकी बदलावों से भी हर समय अपडेट रहना होगा, तभी खुद को आगे रख सकेंगे।


प्रमुख संस्थान



माया एकेडमी ऑफ एडवांस्ड सिनेमैटिक्स
www.maacindia.com

बिड़लाइंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी, नोएडा/
www.bitmesra.ac.in

एमिटी यूनिवर्सिटी, नोएडा
www.amity.edu

नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन, अहमदाबाद
www.nid.edu



शैक्षिक योग्यताः


देश के विभिन्न संस्थानों में इनदिनों एनिमेशन और मल्टीमीडिया के तहत सर्टिफिकेट, डिप्लोमा तथा डिग्री के रूप में कई तरह के प्रोग्राम्स ऑफर किए जा रहे हैं। इस तरह का कोर्स किसी भी बैकग्राउंड के युवा कर सकते हैं। वैसे, आर्ट बैकग्राउंड के युवाओं के लिए यह कोर्स काफी उपयुक्त माना जाता है। 12वीं के बाद यह कोर्स किया जा सकता है। बीएससी इन एनिमेशन ऐंड मल्टीमीडिया जैसे डिग्री प्रोग्राम्स में दाखिले प्रवेश परीक्षा के आधार पर होते हैं। आगे चलकर इसी में आप एमएससी भी कर सकते हैं। इसके अलावा, अगर ऑनलाइन माध्यम से यह कोर्स करना चाहते हैं, तो स्कूल ऑफ मोशन, मोशन मिस्ट्री, लर्न स्क्वॉयर्ड, स्किलशेयर या यूडेमी जैसे कई अच्छे ऑनलाइन प्लेटफॉर्स हैं, जहां से इसकी ट्रेनिंग ली जा सकती है।


सैलरी पैकेजः


किसी भी एनिमेशन प्रोडक्शन हाउस में इन हाउस ट्रेनिंग के बाद स्टूडेंट्स को जूनियर एनिमेटर के तौर पर शुरुआत में 20-25 हजार रुपये तक मासिक सैलरी आसानी से मिल जाती है। विशेषज्ञता और अनुभव हासिल कर लेने पर कुशल एनिमेटर हर महीने 50 हजार रुपये से अधिक की सैलरी पा रहे हैं। एंटरप्रेन्योर बनकर यह कमाई महीने में लाखों में हो सकती है।

टैलेंटेड युवाओं के लिए आकर्षक करियर विकल्प


निश्चित रूप से कोरोना महामारी के बाद एनिमेशन और ग्राफिक आर्ट से जुड़े कार्यों की डिमांड में काफी तेजी आई है।बदलते दौर में बढ़ी इस मांग ने ब्रांड और कंटेंट क्रिएटर्स को भी मजबूर किया है कि वे अपने क्लाइंट्स के लिए अलग तरह का कंटेंट तैयार करने के विकल्प तलाशें। हमारे खुद के ब्रांड पार्टनर पहले से कहीं ज्यादा अब एनिमेटेड कंटेंट की मांग करने लगे हैं। सोशल प्लेटफार्स पर भी इसी तरह के फार्मेटवाले कंटेंट अधिक इस्तेमाल हो रहे हैं। इसके अलावा, डिमांड में आई वृद्धि के पीछे एक कारण यह भी है कि कोई छोटा-मोटा एनिमेटेड पीस तैयार करने में खर्च बहुत कम आता है और इसे कहीं से भी यानी वर्क फ्रॉम होम के दौर में सुदूर बैठकर भी तैयार किया जा सकता है। इसलिए टैलेंटेड युवाओं के लिए हमेशा से यह एक अच्छा करियर विकल्प रहा है, जोदुनिया को अलग तरह से देखने का नजरिया रखते हैं। कुल मिलाकर, अगर स्थिति सामान्य भी हो गई,तब भी 2021 और उसके बाद भी यही डिमांड रहने की उम्मीद है।


2021-05-02

fashion designing me career kaise banaye | fashion designing career scope in india in hindi | Job opportunities | job salary | job description

फैशन डिजाइनिंग में बनाएं करियर(जॉब) इन हिन्दी या इंडिया मे फैशन डिजाइनिंग में कैरियर कैसे बनाए



अलग-अलग डिजाइन और स्टाइल के साथ कपड़ों
की सुंदरतापरखासध्यान
दिये जाने सेहालकेवर्षों
में फैशन डिजाइनिंग और
फैशन प्रबंधन एकचमकीले
करियरविकपके रुप में
उभरकर सामने आयाहै,जहाँ
फैशन डिजाइनरके अलावा
फैशन कम्युनिकेटर,फैशन
प्रबंधक, ब्रांड मर्चेंटडाइजर
के रूप में तमाम आकर्षक
संभावनाएं हैं। आइएजानें,
फैशन डिजाइनिंग में
करियरबनाने की दिशा में
कैसे कदमबढ़ासकते हैं...



एक मशहूर फैशन मैगजीन की मशहूर
एडिटर रही डायना व्रीलेंड के अनुसार,
फैशन रोज की आबोहवा का हिस्सा है जो
उसी की तरह बदलता है। युवा आबादी वाले अपने
देश में तेजी से बढ़ती फैशन इंडस्ट्री को देखकर
यह सही भी प्रतीत होता है। बढ़ती आय और
संपन्नता के बीच आज हर कोई भीड़ से अलग
फैशनेबल अंदाज में दिखना चाहता है। महानगरों
से लेकर छोटे-बड़े शहरों की शादियों-पार्टियों
में लोगों को डिजाइनर वियर, एथनिक वियर या
एक्सेसरीज पहने आसानी से देखा जा सकता है।
भारतीय अपैरल मार्केट इस समय फूड और ग्रोसरी
के बाद दूसरी सबसे बड़ी रिटेल मार्केट है। पिछले
पांच साल में इस इंडस्ट्री ने 115 फीसद की दर से
ग्रोथ किया है, जिसके आगे भी इसी तरह ग्रोथ की
उम्मीद की जा रही है। आइबीईएफ (इंडिया ब्रांड
इक्विटी फाउंडेशन) के मुताबिक, आज इस उद्योग
में प्रत्यक्ष रूप से करीब 6 करोड़ तथा अप्रत्यक्ष
रूप से 4.5 करोड़ लोगों को रोजगार मिला
हुआ है।


फैशन डिजाइनिग के विविध आयाम: डिजाइन से
जुड़े फैशन करियर में क्रिएटिविटी, स्टाइलिंग, ड्रेस
मेकिंग, राइटिंग तथा फैशन शो जैसे कई क्षेत्र आते
है। नयी तकनीकों के आने से हाल के वर्षों में
फैशन करियर में प्रोडक्शन, प्लानिंग तथा स्ट्रेटेजी
जैसे नये आयाम भी जुड़ गये हैं। मैनेजमेंट के
नजरिये से देखें तो फैशन में मार्केटिंग, प्रमोशन,
प्रबंधन जैसे कार्य आते हैं। वहीं, एंटरप्रेन्योर या
उद्यमी के रूप में भी इस फील्ड से जुड़कर आप
फैशन के विश्वव्यापी व्यवसाय का हिस्सा भी बन
। सकते हैं या भारत की शिल्प कलाओं को फैशन
- से जोड़कर उसे आधुनिक स्वरूप देकर इस फील्ड
में खुद को आगे बढ़ा सकते हैं। कुल मिलाकर,


फैशन के क्षेत्र में काम करना चाहें, तो चाहे
डिजाइनिंग का फील्ड हो, टेक्नोलॉजी का या फिर
मैनेजमेंट का, सभी चुनौतीपूर्ण होने के साथ-साथ
नित नये अनुभव भी देते हैं।
बेशुमार संभावनाएं : पिछले कुछ दशकों से
सस्टेनेबल प्रोडक्शन तथा प्रोडक्शन में आये
बदलाव ने फैशन के विद्यार्थियों और शिक्षकों के
लिए नये द्वार खोल दिये हैं। निफ्ट जैसे संस्थान
मार्केट की बदलती जरूरतों को समझते हुए
समकालीन फैशन पाठ्यक्रमों पर काफी जोर दे
रहे हैं। ऐसे कोर्स के जरिए आप डिजाइनर या
डिजाइन विशेषज्ञ की भूमिका में किसी भी फैशन
ब्रांड (वस्त्र, परिधान, आभूषण, एक्सेसरीज
इत्यादि बनाने वाली विख्यात कंपनियों एवं
उनके प्रसिद्ध लेबल) से जुड़ सकते हैं। इसके
अलावा, अपना डिजाइनर स्टोर या बुटीक्स
खोलकर फैशन एंटरप्रेन्योर बन सकते हैं। फैशन
ब्लॉगर या कम्युनिकेटर भी बन सकते हैं। बांडिंग,
स्टाइलिंग, सोशल मीडिया मार्केटिंग, फोटोग्राफी,
व्यावसायिक फैशन, यूआइयूएक्स डिजाइन और
ग्राफिक्स जैसे विभिन्न फील्ड में इन दिनों फैशन
कम्युनिकेशन में दक्ष युवाओं के लिए जॉब के
काफी अवसर हैं। फैशन प्रौद्योगिकी में डिग्रीधारी
युवाओं के लिए गारमेंट फैक्ट्रीज में प्रोडक्शन
एग्जीक्यूटिव अथवा प्रोडक्शन मर्चेडाइजर/ ब्रांड
मर्चेडाइजर के रूप में या फिर फैशन बाइंग हाउस
में मर्चेडाइजर या फैशन टेक्नोलॉजिस्ट के रूप में
करियर शुरू करने के मौके उपलब्ध हैं

पाठ्यक्रम और शैक्षिक योग्यता

केशन मैनेजमेंट आज के समय में सबसे अधिक लोकप्रिय
पाठ्यक्रमों में से एक है। वैसे तो. भारत के विभिन्न कॉलेज,
केशन मवेडाइजिग रिटेल मैनेजमेंट, रिटेल म.डाइजिम आदि
क्षेत्रों में कोर्स कराये जा रहे है लेकिन इन सभी में सबसे प्रमुख
फैशन मैनेजमेंट का कोस है। इसका सबसे बड़ा प्रमाण सभी
अग्रणी कपनियों के उच्च पदो पर फैशन प्रबधन मे स्किल्डयुवाओं
की उपस्थिति है। राष्ट्रीय फैशन प्रौद्योगिकी संस्थान निफ्ट) फैशन
मैनेजमेंट कोर्स के अलावा फैशन डिजाइन प्रबधन और प्रौद्योगिकी
से संबंधित स्नातक, स्नातकोत्तरतथा डॉक्टरेट तक के कोर्स सञ्चालित
किये जाते हैं । अडरग्रेजुएट कोर्स 12वीं के बाद किया जा सकता है ।यहाँ
फैशन डिजाइनिग के शॉर्टकोर्स प्रोग्राम्स भी सचालित होते हैं।

प्रमुख संस्थान

नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ फैशन टेक्नोलॉजी,
दिल्ली/मुंबई/बेंगलुरु
http://nift.ac.in
नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन,
अहमदाबाद/बेंगलुरु www.nid.edu
सिम्बायसिस इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन, पुणे
http://sid.edu.in

2020-06-03

Law Career Opportunities In India, Types Of Law Careers, Law After Graduate Career Options Aur Law Me Career Kaise Banaye Jankari Hindi Mein

Law Me Career Options And Opportunities Ke Bare Me

लॉ मे कैरियर बनाना या इस फिल्‍ड में चुनौतियों तो बेशक ज्‍यादा होती है, लेकिन इनमें Law Graduates को मौके पैकेज भी ऑफर हो रहे है। लॉ में सम्‍मान जनक तरीके से काम करते हुए नाम और पैसे कमा सकते है। 


Survey Ke Reports Se

1. 60 हजार नए अधिवक्ता बनते हैं हर साल देश में। इनमें से 2 हजार लॉ विवि से निकलते हैं, बाकी 58 हजार निजी स्कूलों से।

2. 20 लाख के करीब रजिस्टर्ड वकील केश में इस समय बार काउंसिल ऑफ इंडिया के आंकड़ों के अनुसार।



बिते दिनों सुप्रीम कोर्ट द्वारा चाहे सीबीआइ में रिश्वत कांड के बाद सीबीआइ चीफ को जबरन छुट्टी पर भेजे जाने के फैसले को रद्द करने का मामला हो या फिर केरल के सबरीमाला मंदिर में महिलाओं पर लगी पाबंदी को हटाने, राफेल सौदे और अयोध्या जैसे बहुचर्चित मामलों पर बात सुनवाई की हो, न्यायपालिका की सक्रियता के ऐसे कई उदाहरण लगातार देखने को मिल रहे हैं। सुप्रीम कोर्ट के साथ-साथ हाईकोर्ट और यहां तक कि सेशन व स्पेशल कोर्ट भी जन-सरोकारों, प्रदूषण और पर्यावरण को लेकर अपने फैसलों के कारण लगातार चर्चा में रहते हैं। इसी न्यायिक सक्रियता के कारण ही लोगों का भरोसा भी इस पर बढ़ा है और यह उम्मीद जागी है कि अगर शासन-प्रशासन कहीं कोई उदासीनता बरतता है, तो कोर्ट जरूर उनके साथ न्याय करेगा। ऐसा हाल-फिलहाल में देखा भी जा रहा है कि जब लोगों, संस्थाओं और कंपनियों की अपेक्षाएँ शासन प्रशासन-पुलिस से पूरी नहीं होती, तो उनके सामने न्याय की उम्मीद में यदि कोई आशा की किरण होती है, तो वह एकमात्र न्यायालय ही है जहां से लोगों को समुचित राहत भी मिलती है और दोषी पक्ष को सजा व फटकार भी। वहीं दूसरी ओर समाज में तेजी से कानूनी प्रक्रियाओं और अपने अधिकारों के प्रति जागरूकता बढ़ने से वकालत के पेशे में जबरदस्त बदलाव आया है। बीते एक दशक से लॉयर्स की मांग लगातार बढ़ रही है।


कौन है लॉयर?:

अगर आसान शब्दों में कहें, तो लॉयर (वकील) वह व्यक्ति है, जो कानूनी दांवपेच को अच्छी तरह जानता और समझता है। जो कोर्ट में लॉ की प्रैक्टिस करने के अलावा अपने क्लाइंट को कानूनी मुद्दों पर सलाह देने का कार्य करते हैं। दीवानी (सिविल) या फौजदारी (क्रिमिनल) मामलों में ये वादी (कम्लेनेट) या प्रतिवादी (डिफेंडेंट) का संबंधित अदालतों में पक्ष रखते हैं। अदालत में अपने क्लाइंट की ओर से मुकदमा दायर करते हैं और उसके पक्ष को लेकर बहस भी करते हैं।


Types Of Law Careers: Law Ke Career Ke Kitane Prakar Hain?

कोर्ट से कॉरपोरेट तक : 

लॉ की डिग्री लेने के बाद आज युवाओं के सामने कई तरह के अवसर उपलब्ध हैं:


जज के रूप में: 

सुप्रीम कोर्ट से लेकर हाईकोर्ट, सेशन कोर्ट में न्यायाधीशों की हनक देखी जा सकती है। शासन| प्रशासन तक को निर्देश और आदेश देने का इनके पास अधिकार होता है। ऐसे में यदि आप लॉ ग्रेजुएट हैं, तो 'एक न्यायाधीश के रूप में आकर्षक करियर शुरू कर सकते हैं। इसके लिए राज्य लोक सेवा आयोगों द्वारा हर | साल आयोजित की जाने प्रॉविंशियल सिविल सर्विसेज जुडिशियरी (पीसीएस-जे) परीक्षा पास करनी होगी। इसे क्वालिफाई करने के बाद सत्र या जिला न्यायालय में । न्यायाधीश के रूप में नियुक्ति होती है। बेहतर काम और अनुभव के आधार पर कुछ वर्षों के बाद हाईकोर्ट के जज के रूप में चयन हो सकता है। इसके अलावा, हाईकोर्ट में सीधे जज बनने के लिए हायर जुडिशियल एग्जाम में शामिल हो सकते हैं, लेकिन इसके लिए करीब 7 से 10 साल की वकालत का अनुभव होना आवश्यक है। इसी तरह विभिन्न राज्यों के हाईकोर्ट में कार्यरत जज वरिष्ठता के आधार पर सुप्रीम कोर्ट में नियुक्त हो सकते हैं।


कॉरपोरेट लॉयर्स:

आज की तारीख में लॉ में ग्रेजुएशन करने के बाद आपके पास कोर्ट में सिर्फ वकील बनने का ही विकल्प नहीं है, आप अपनी इच्छानुसार देश-विदेश की मल्टीनेशनल कंपनियों में लीगल ऑफिसर्स बन सकते हैं। इन कॉरपोरेट्स लॉयर्स की तो आजकल बहुत ही ज्यादा मांग है, जो सभी बड़ी-बड़ी कंपनियों और कॉरपोरेशंस को कानूनी सलाह देते हैं। अपने क्लाइंट्स को कानूनी तरीके से कारोबार करने में मदद करते हैं।


लॉ फर्स: 

आजकल बड़ी संख्या में लॉ फर्स के आ जाने से भी लॉ ग्रेजुएट्स की मांग काफी बढ़ गई है। इन लॉ फर्स में नेशनल लॉ स्कूल्स के ग्रेजुएट्स की सबसे अधिक पूछ है, जो शुरुआत से ही काफी आकर्षक सैलरी पैकेज भी देती हैं।


साइबर लॉयर:

ऑनलाइन गतिविधियां बढ़ने से साइबर अपराध की घटनाओं में भी तेजी आई है। इन सब को देखते हुए ही पिछले कुछ वर्षों से कंप्यूटर और नेटवर्क सुरक्षा पर ज्यादा ध्यान दिया जाने लगा है और जिसके लिए साइबर लॉयर्स की काफी जरूरत देखी जा रही है।



सरकारी वकील:

सरकारी विभागों या अन्य जांच एजेंसियों द्वारा चलाये जाने वाले मुकदमों की पैरवी के लिए आजकल हर राज्य में लोक अभियोजक यानी सरकारी वकील होते हैं। कुछ वर्षों की वकालत और लगातार अच्छे रिकॉर्ड के बाद आप भी केंद्र और राज्य सरकारों में इस तरह के सरकारी वकील बन सकते हैं।


टीचिंग का फील्ड:

ढेर सारे प्राइवेट लॉ स्कूल्स और नए-नए नेशनल लॉ स्कूल्स के खुलते जाने से इनमें असिस्टेंट प्रोफेसर्स की भारी डिमांड देखी जा रही है।


अन्य विकल्पः

लॉ ग्रेजुएट्स के लिए लीगल जर्नलिज्म, एनजीओ, इंटरनेशनल आर्गनाइजेशंस,पीएसयूज, इनकम टैक्स लॉ जैसे फील्ड में भी आजकल काफी अवसर हैं।


शैक्षिक योग्यता :

लॉ में ग्रेजुएशन के बाद पारंपरिक तीन वर्षीय डिग्री यानी एलएलबी का विकल्प तो है ही, लेकिन अब बारहवीं के बाद पांच वर्षीय बैचलर डिग्री प्रोग्राम्स की लोकप्रियता तेजी से बढ़ रही है। खास बात यह है कि बारहवीं के बाद लॉ करने से एक साल की बचत हो जाती है, क्योंकि तीन साल का ग्रेजुएशन करने के बाद लॉ करने में फिर से तीन साल (यानी कुछ छह साल) लगाने पड़ते हैं। फिलहाल किसी भी स्ट्रीम के छात्र ये कोर्स कर सको हैं। देश की नेशनल लॉ यूनिवर्सिटीज में दाखिले क (कॉमन लॉ एडमिशन टेस्ट) के माध्यम से होते हैं, सिर्फ पांच वर्षीय कोर्स ही ऑफर किए जाते हैं।

2017-02-23

Architecture Me Career Kaise Banaye | architecture career in india | Salary | options |

आर्किटेक्चर में करियर कैरियत कैसे बनाए या आर्किटेक्ट कैसे बने











आंकडे- Statistics बोलते है

35की सलाना दर से हो रही है सूचना प्रोद्योगिकी के क्षेत्र वृद्ध‍ि 10 सालों से 15 लाख आईटी प्रोफेशनल्‍स की है आवश्‍यकता देश में।

प्रमुख संस्‍थान(Main Institute Of Education

इंडियन इंस्‍टीट्यूट ऑफ टेक्‍नोलॉजीनई दिल्‍लीकानपुररूडकी

Indian Institute Of Technology New Delhi

www.iitd.ac.in/

दिल्‍ली टेक्‍नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी

Delhi Technology University

dtu.ac.in/

वीआईटी यूनिवर्सिटीवेल्‍लोर

V.I.T University

www.vit.ac.in/

बिरला इंस्‍टीट्यूट ऑफ इनफार्मेशन टेक्‍नालॉजीइलाहाबाद

Birla Institute Of Technology Ranchi

https://www.bitmesra.ac.in/

इंडियन इंस्‍टीट्यूट ऑफ इनफॉर्मेशन टेक्‍नोलॉजीइलाहाबाद

Indian Institute Of Information Technology Allahabad

https://www.iiita.ac.in

नेशनल इंस्‍टीट्यूट ऑफ टेक्‍नोलॉजीदुर्गापुरपश्चिम बंगाल

National Institute Of Information Technology Durgapur Paschim Bangal(West Bengal)

www.nitdgp.ac.in/


Architecture Kya Hota Hain?


      टेक्निकल आर्किटेक्‍ट (Technical Architects) कंप्‍यूटर की Screen के भीतर की दुनिया में कभी झांका है आपने ? इसके पीछे कई रहस्‍य छिपे है। जो Screen पर दिख रहा हैउसके पीछे झांकना चाहते हैतो टेक्निकल आर्किटेक्‍ट

 के रूप में आपके पास अच्‍छा मौका है।

वास्‍तुकार भवन निर्माण में अहम भूमिका निभाते है। यह भवन को डिजाइनसुरक्षा और मजबूती प्रदान करते है। इसी तरह टेक्निकल  आर्किटेक्‍ट (Technical Architects) यानी तकनीकी कास्‍तुकार डिजिटल दुनिया के वास्‍तुकार होते है। सूचना प्रोद्यौगिकी (Information Technology) से जुडे किसी सिस्‍टमप्रोग्राम का निर्माण करने का काम इन्‍ही का होता है।

सुचना प्रोद्यौगिकी (आईटीका क्षेत्र बहुत व्‍यापक है। आईआईटी कानपुर के आंकडों के अनुसारपिछले दस सालों से भारत में आईटी सेक्‍टर-IT Sector 35 प्रतिशत प्रतिवर्ष की दर से बढ रहा है और आने वाले वर्षो में डिजिटलाइजेशन होने से इस क्षेत्र में बूम आने की संभावना है।

सरकारी संस्‍थान (Government institutions), मंत्रालयोंनिजी क्षेत्र की नामचीत संस्‍थान डिजिटल युग की तरफ बढ रहे है। यही वजह है कि इन सभी जगहों पर टेक्निकल आर्किटेक्‍ट (Technical Architects) की जरूर दिखाई दे रही है। इन संस्‍थाओं में आईटी से जुडे सभी कार्यो को व्‍यवस्थित तरीके से ‘Open’ रखने में टेक्निकल आर्किटेक्‍ट अहम भूमिका निभा रहे है।

Architecture Analysis

एक आंकडे के अनुसार2005-06 में भारत में 260,000 IT Professionals की आवश्‍कता थीजो 2010-11 में बढकर 800,000 पर पहुंच गई। बीते छह सालों में यह आंकडा 15 लाख पार हो गई है।

Architecture के कार्य

Technical Architects किसी भी संस्‍था के लिए डिजिटल डाटाबेस तैयार करता हैसाथ ही ऐसा ऑपरेटिंग फंक्‍शन तैयार करता हैजिससे समस्‍त जानकारियां आसान फॉर्मेट में लोगों को मिल सके।

 इतना ही नही टेक्निकल आर्किटेक्‍ट (Technical Architects) कंपनी की जरूरतों और पब्लिक की जरूरतों में सामंजस्‍य बिठाकर कोई भी सिस्‍टमप्रोग्राममिंग तैयार करते है। टेक्निकल आर्किटेक्‍ट के रूप में काम करने के लिए आपको तकनीकी का अच्‍छा ज्ञान होना आवश्‍यक हैसाथ ही आपका धैर्यवान होना भी बेहद जरूरी हो जाता है। कई बार प्रोजेक्‍ट्स में असफलताओं के बाद आप सफल होते है। 


Architecture के योग्यता और क्वॉलिफ़िकेशन

शैक्षिक योग्‍यता की बात करेंतो इसे Career के रूप में चुनने के लिए आपके पास सूचना प्रोद्यौगिकी में बीटेक- B.Tech की Degree अनिवार्य है। Computer Science से B.Sc करने के बाद भी आप अनुभव के आधार पर अच्‍छी नौकरी पा सकते है।

Computer संबंधी भाषाओं का अच्‍छा ज्ञान आपको अच्‍छा Technical Architects बनाने में मदद करेगा ।

 आपको JAVA, Oracle, O Level, C, C++ आदि का ज्ञान होना जरूरी है । इसके अलावा  UNIX, SQL Server and TCP/IP  जैसी तकनीकों की भी अच्‍छी समझ होनी चाहिए। इसके लिए पढाई के साथ-साथ अभ्‍यास जरूरी हो जाता है।

 

Architecture Salary

बहुत कम ऐसे क्षेत्र होते हैजिनमें कमाई की कोई सीमा नही होती है। टेक्निकल आर्किटेक्‍ट- Technical Architects ऐसा ही क्षेत्र है। यहां शुरूआत ऐसा ही क्षेत्र है। यहां शुरूआत 20 हजार रूपये Salary से जरूर होती हैलेकिन आपके Skills पर आपकी अधिक Salary निर्भर करती है।


Architecture Skill

 अच्‍छा Communication Skills, तकनीकी में रोजाना हो रहे बदलावनए और कॉम्‍पैक्‍ट ऐप्‍लीकेशंस (Compact Applications) का ज्ञान आपके लिए सफलता के द्वारा खोल देगा। भारत में भले ही कुछ चुनिंदा बडी कंपनियां ही टेक्निकल आर्किटेक्‍ट (Technical Architects) को मौका दे रही हैलेकिन America, Britain, Korea, Japan, Chin में इस क्षेत्र में नौकरियों और मौकों की कोई कमी नही है।

2017-02-22

Oceanography Marine Biology Me Career Kaise Banaye | how to start a marine biology career in hindi | salary | path | opportunities

Oceanography (समुद्र विज्ञान) Marine Biology Me Career Kaise Banaye Ya Marine Biology(समुद्री जीव विज्ञान) Me Career Kaise Banaye in india in hindi


 Sea Oceanography Marine Biology Kya Hota Hain?


Ocean को उफान मारते जब आप देखते हैतो जहन में तमाम Question आते है। कितना गहरा है Ocean, कैसा है इसके भीतर का जीवन?  इसका जवाब मिलता है समुद्र विज्ञान (Sea Science) में।

पानी का रंग, जीवों का अध्‍ययन(Studying Organisms), केमिकल गुणउपयोगहानि,  Future के प्रभावों का होता है अध्‍ययन।


आंकडे(Statistics) बोलते है

 

30 हजार रूपये प्रतिमाह कमा सकते है Government Jobs में 15-20 हजार रूपये होती है

 Private Sector में शुरूआती Salary 10-15 हजार रूपये होती है

 

प्रमुख संस्‍थान

नेशनल इंस्‍टीट्यूट ऑफ साइंसटेक्‍नोलॉजी एंड डेवलप्‍मेंट स्‍टडीजनई दिल्‍ली

CSIR-National Institute Of Science Technology And Development Studies New Delhi

नेशनल इंस्‍टीट्यूट ऑफ ओशियनोग्राफीगोवा यूनिवर्सिटीगोवा

National Institute Of Oceanography (NIO)

उत्‍कल यूनिवर्सिटीभुवनेश्‍वरओडिशा

Utkal University Bhubaneswar Odisha

कोचीन यूनिवर्सिटी ऑफ साइंस एंड टेक्‍नोलॉजीकोचीन।

Cochin University Of Science And Technology

मंगलौर यूनिवर्सिटीकर्नाटक

Mangalore University Karnataka

यूनिवर्सिटी ऑफ मद्रासचेन्‍नई ।

University Of Madras Chennai



Ocean के बीच पर खडे होकर हम सब कुछ भूल जाते है और समुद्र की लहरों
के भीतर के उफान के बारे में सोचने लगते है। उफान मारते Ocean के भीतर जाने और उससे रूबरू होने का मन तो करता हैपर अगले ही पल डर भी लगता है। अगर इस डर को निकालकर आगे बढेगेंतो मिलेगी समुद्र विज्ञान यानी Oceanography वह विज्ञान है जिसमे Sea And Ocean के हर पहलू का वैज्ञानिक रूप से अध्‍ययन किया जाता है।

 

Oceanography में समुद्रउसके तटसमुद्री शाखाओं से लेकर कोस्‍टल वाटर(Coastal Water) और समुद्री चट्टानों की गहराई का Study कर नई रोमांचक चीजे सर्च की जाती है। यहां केमेस्‍ट्रीजियोलॉजीमैटीरियोलॉजीफिजिक्‍स और बायोलॉजी को एक साथ समझने का मौका मिलता है।

 

यह क्षेत्र जितना रोमांचक हैउतना ही चुनौतीपूर्ण भी। चूकिं समुद्रजिज्ञासाओं से भरा हैइसलिए यह क्षेत्र कभी कमजोर होने वाला नहीं है। महासागरों में ढेरो Knowledge और रहस्‍य छिपे हैबस उससे परदा उठना बाकी है।

 

ओशियनोग्राफर समुद्र के भीतर घंटों रहकर Sample जुटाते हैसर्वे करते हैडाटा विश्‍लेषित करते है। एक तरीके से कहेतो यह सर्च आधारित क्षेत्र हैजिसमें मरीन ऑर्गेनिज्‍म(Marine Organisms), इकोसिस्‍टम डायनेमिक्‍स(Ecosystem Dynamics), ओशन करंट्स(Ocean Current), वेव्‍स(Waves), जियोफिजिकल फ्लूइड डायनैमिक्‍स(Geophysical Fluid Dynamics), प्‍लेट टेक्‍टोनिक्‍स(Plate Tectonics), सी-फ्लोर जियोलॉली(Sea-Floor Geology) को समाहित किया जाता है।

 

 

आशियनोग्राफर महासागरों व कोस्‍टलवाटर(Coastal Water) के रहस्‍य बारीकी से जांचते है। वह महासागरीय जल की गति (The Speed Of Ocean Water), जल के वितरण (Water distribution) और उसके फिजिकल केमिकल गुण(Physical Chemical Properties) व लक्षण का अध्‍ययन करते है।

 

वो ये भी जानने की कोशिश करते है कि इनका समुद्र के तटिय इलाकों(Coastal Areas) में रहने वाले लोगों और जलवायु- Climate पर क्‍या असर पडता है। ओशयनोग्राफर को समुद्र के भीतर मिलने वाली चुनौतियों व खतरों के करीब से गुजरना होता है।

 

 Oceanography के Degree / Eligibility

अगर योग्‍यता की बात करेंतो इस क्षेत्र में Career बनाने के लिए विज्ञान विषय का Students होना आवश्‍यक है। विज्ञान विषय से बारहवीं करने के साथ ही आपको Swimming And Diving भी आनी चाहिए।

इस क्षेत्र में प्रवेश करने के लिए स्‍टूडेंटस के पास Biological Technician और Chemical Technician आदि में B.S Bachelor of Science, M.S Master of Science, PhD Philosophiae Doctorडिग्री कोर्स होना जरूरी है। समुद्रो में पर्यावरण के परिवर्तन मनुष्‍य और पारिस्थितिक तंत्र-Ecosystem को साधे तौर पर प्रभावित करते है। ऐसे में सरकार भी इन रिसर्च में पूरा सहयोग करती है।

 

विदेशों में भी अवसरों  की है भरमार

 

समुद्र विज्ञान(Oceanography) का क्षेत्र बहुत बडा है। विश्‍व में पांच महासागर-Ocean है और कई सागर-Sea है। यह सभी रहस्‍यों से भरे है। दुनिया के सभी बडे देश इन Ocean और Sea के रहस्‍यों को जानने में लगे है। इसलिए इस क्षेत्र में भारत के अलावा विदेशों में तमाम संभावनाएं है।

अमेरिकन जू एंड इक्‍वेरियम एसोसिएशन (The American Zoo and Aquarium Association) से जुडकर इस फील्‍ड में काम करने के अच्‍छे अवसर प्राप्‍त किए जा सकते है। इसके अलावा Marine Science के अध्‍ययन के बाद युवा Marine Educator, Science Writer, Film Maker, Photographers, Eco-Tourism Guide, Park Rangers, बीच निरीक्षक आदि क्षेत्रो में Jobs पा सकते है।