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2022-03-20

डाटा साइंस जॉब - Data Science Kya Hota Hai | Data Science Me Career Kaise Banaye

डाटा साइंस कोर्स क्या है इन हिंदी या डाटा साइंस में करियर कैसे बनाए, सैलरी व जॉब अवसर के बारे मे


डाटा साइंस क्या होता है?


एडुटेक कंपनी ग्रेट लर्निग के एक अध्ययन के अनुसार, कोरोना संकट के बाद एनालिटिक्स और डाटा साइंस के क्षेत्र में प्रोफेशनल्स की मांग तेजी से बढ़ी है। वैसे, इस तकनीक पर आजकल पूरी दुनिया की नजरें हैं। डाटा साइंटिस्ट ही डाटा का अध्ययन करते हैं और फिर एआइ, ब्लाक चेन और मशीन लर्निंग का इस्तेमाल कर तकनीक को उन्नत बनाते हैं। तेजी से हो रही तकनीकी प्रगति की बुनियादी जरूरत होने के कारण डाटा साइंस के जानकारों के लिए अवसर तेजी से बढ़ रहे हैं।

डाटा साइंस आज के समय में करियर का सबसे अधिक डिमांडिंग विषय है। ऐसा इसलिए क्योंकि
स्मार्टफोन और इंटरनेट मीडिया के बढ़ते उपयोग से डाटा की खपत कई गुना बढ़ गई है। यह डाटा आज हर जगह है। कंपनियों के लिए यह डाटा आज के समय में अपना बिजनेस बढ़ाने का बहुत बड़ा जरिया है। कंपनियां इसी डाटा के जरिये ग्राहकों की मांग एवं उनकी पसंद आदि को आसानी से समझ पा रही हैं।

बढ़ती संभावनाएं : 


  • एरिक्सन मोबिलिटी रिपोर्ट के अनुसार, 2026 तक भारत में प्रति व्यक्ति डाटा खर्च तीन गुना बढ़ने की उम्मीद है। बिग डाटा एनालिटिक्स इंडस्ट्री रिपोर्ट के मुताबिक डाटा एनालिटिक्स का वैश्विक मार्केट 2027 तक 12.3 फिसद की दर से बढ़ने की उम्मीद है।
  • वर्तमान में तमाम बिजनेस आनलाइन माध्यम से होने के चलते आने वाले दशक में भी डाटा विशेषज्ञों की मांग बढ़ाने की उम्मीद है।

प्रमुख संस्थान


आइआइटी खड़गपुर
www.ilkop.ac.in

इंडियन इस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट, बेंगलुरु
wwwiimb.ac.in

जीएलबजाज ग्रेटर नोएडा
www.gbitm.org


प्रोग्रामिंग/मैथ्स के स्टूडेंट के लिए बेहतरः डाटा साइंस आज हर उस युवा के लिए एक बेहतर करियर विकल्प है, जो किसी भी प्रोग्रामिंग भाषा का ज्ञान रखता है और गणित के साथ बारहवीं उत्तीर्ण किया है। बाजार में डाटा साइंस की बढ़ती जरूरत को देखते हुए तमाम संस्थानों में फुलटाइम बीटेक डिग्री जैसे कोर्स कराए जा रहे हैं। अगर आनलाइन सीखना चाहें, तो सी-डैक सिंप्लीलन आदि के प्लेटफॉर्म से भी यह सीख सकते हैं।

स्किल बढ़ाकर उठाये अवसरों का फायदा


तकनीकी प्रगति और सूचना क्रांति ने चुनौतियों के साथ - साथ डाटा साइंस के रूप में अवसरों की नई राह खोल दी है। देश दुनिया मे इस विषय के जानकारों की लगातार बढ़ती मांग को देखते हुए तमाम प्रतिष्ठित संस्थाओं द्वारा इसमे फुलटाइम कोर्स शुरू किया गया है। तकनीकी जगत की बदलती जरुरतों को देखते हुए इस विषय मे रुचि रखने वाले युवाओं को कौशल युक्त बनाने की चुनौती है। संस्थान व फैकल्टी खुद को अपग्रेड रखकर स्टूडेंट्स की स्किल बढ़ाने पर समुचित ध्यान देंगे, तो इंडस्ट्री द्वारा उन्हें हाथोंहाथ लिया जा सकेगा।

2021-05-02

fashion designing me career kaise banaye | fashion designing career scope in india in hindi | Job opportunities | job salary | job description

फैशन डिजाइनिंग में बनाएं करियर(जॉब) इन हिन्दी या इंडिया मे फैशन डिजाइनिंग में कैरियर कैसे बनाए



अलग-अलग डिजाइन और स्टाइल के साथ कपड़ों
की सुंदरतापरखासध्यान
दिये जाने सेहालकेवर्षों
में फैशन डिजाइनिंग और
फैशन प्रबंधन एकचमकीले
करियरविकपके रुप में
उभरकर सामने आयाहै,जहाँ
फैशन डिजाइनरके अलावा
फैशन कम्युनिकेटर,फैशन
प्रबंधक, ब्रांड मर्चेंटडाइजर
के रूप में तमाम आकर्षक
संभावनाएं हैं। आइएजानें,
फैशन डिजाइनिंग में
करियरबनाने की दिशा में
कैसे कदमबढ़ासकते हैं...



एक मशहूर फैशन मैगजीन की मशहूर
एडिटर रही डायना व्रीलेंड के अनुसार,
फैशन रोज की आबोहवा का हिस्सा है जो
उसी की तरह बदलता है। युवा आबादी वाले अपने
देश में तेजी से बढ़ती फैशन इंडस्ट्री को देखकर
यह सही भी प्रतीत होता है। बढ़ती आय और
संपन्नता के बीच आज हर कोई भीड़ से अलग
फैशनेबल अंदाज में दिखना चाहता है। महानगरों
से लेकर छोटे-बड़े शहरों की शादियों-पार्टियों
में लोगों को डिजाइनर वियर, एथनिक वियर या
एक्सेसरीज पहने आसानी से देखा जा सकता है।
भारतीय अपैरल मार्केट इस समय फूड और ग्रोसरी
के बाद दूसरी सबसे बड़ी रिटेल मार्केट है। पिछले
पांच साल में इस इंडस्ट्री ने 115 फीसद की दर से
ग्रोथ किया है, जिसके आगे भी इसी तरह ग्रोथ की
उम्मीद की जा रही है। आइबीईएफ (इंडिया ब्रांड
इक्विटी फाउंडेशन) के मुताबिक, आज इस उद्योग
में प्रत्यक्ष रूप से करीब 6 करोड़ तथा अप्रत्यक्ष
रूप से 4.5 करोड़ लोगों को रोजगार मिला
हुआ है।


फैशन डिजाइनिग के विविध आयाम: डिजाइन से
जुड़े फैशन करियर में क्रिएटिविटी, स्टाइलिंग, ड्रेस
मेकिंग, राइटिंग तथा फैशन शो जैसे कई क्षेत्र आते
है। नयी तकनीकों के आने से हाल के वर्षों में
फैशन करियर में प्रोडक्शन, प्लानिंग तथा स्ट्रेटेजी
जैसे नये आयाम भी जुड़ गये हैं। मैनेजमेंट के
नजरिये से देखें तो फैशन में मार्केटिंग, प्रमोशन,
प्रबंधन जैसे कार्य आते हैं। वहीं, एंटरप्रेन्योर या
उद्यमी के रूप में भी इस फील्ड से जुड़कर आप
फैशन के विश्वव्यापी व्यवसाय का हिस्सा भी बन
। सकते हैं या भारत की शिल्प कलाओं को फैशन
- से जोड़कर उसे आधुनिक स्वरूप देकर इस फील्ड
में खुद को आगे बढ़ा सकते हैं। कुल मिलाकर,


फैशन के क्षेत्र में काम करना चाहें, तो चाहे
डिजाइनिंग का फील्ड हो, टेक्नोलॉजी का या फिर
मैनेजमेंट का, सभी चुनौतीपूर्ण होने के साथ-साथ
नित नये अनुभव भी देते हैं।
बेशुमार संभावनाएं : पिछले कुछ दशकों से
सस्टेनेबल प्रोडक्शन तथा प्रोडक्शन में आये
बदलाव ने फैशन के विद्यार्थियों और शिक्षकों के
लिए नये द्वार खोल दिये हैं। निफ्ट जैसे संस्थान
मार्केट की बदलती जरूरतों को समझते हुए
समकालीन फैशन पाठ्यक्रमों पर काफी जोर दे
रहे हैं। ऐसे कोर्स के जरिए आप डिजाइनर या
डिजाइन विशेषज्ञ की भूमिका में किसी भी फैशन
ब्रांड (वस्त्र, परिधान, आभूषण, एक्सेसरीज
इत्यादि बनाने वाली विख्यात कंपनियों एवं
उनके प्रसिद्ध लेबल) से जुड़ सकते हैं। इसके
अलावा, अपना डिजाइनर स्टोर या बुटीक्स
खोलकर फैशन एंटरप्रेन्योर बन सकते हैं। फैशन
ब्लॉगर या कम्युनिकेटर भी बन सकते हैं। बांडिंग,
स्टाइलिंग, सोशल मीडिया मार्केटिंग, फोटोग्राफी,
व्यावसायिक फैशन, यूआइयूएक्स डिजाइन और
ग्राफिक्स जैसे विभिन्न फील्ड में इन दिनों फैशन
कम्युनिकेशन में दक्ष युवाओं के लिए जॉब के
काफी अवसर हैं। फैशन प्रौद्योगिकी में डिग्रीधारी
युवाओं के लिए गारमेंट फैक्ट्रीज में प्रोडक्शन
एग्जीक्यूटिव अथवा प्रोडक्शन मर्चेडाइजर/ ब्रांड
मर्चेडाइजर के रूप में या फिर फैशन बाइंग हाउस
में मर्चेडाइजर या फैशन टेक्नोलॉजिस्ट के रूप में
करियर शुरू करने के मौके उपलब्ध हैं

पाठ्यक्रम और शैक्षिक योग्यता

केशन मैनेजमेंट आज के समय में सबसे अधिक लोकप्रिय
पाठ्यक्रमों में से एक है। वैसे तो. भारत के विभिन्न कॉलेज,
केशन मवेडाइजिग रिटेल मैनेजमेंट, रिटेल म.डाइजिम आदि
क्षेत्रों में कोर्स कराये जा रहे है लेकिन इन सभी में सबसे प्रमुख
फैशन मैनेजमेंट का कोस है। इसका सबसे बड़ा प्रमाण सभी
अग्रणी कपनियों के उच्च पदो पर फैशन प्रबधन मे स्किल्डयुवाओं
की उपस्थिति है। राष्ट्रीय फैशन प्रौद्योगिकी संस्थान निफ्ट) फैशन
मैनेजमेंट कोर्स के अलावा फैशन डिजाइन प्रबधन और प्रौद्योगिकी
से संबंधित स्नातक, स्नातकोत्तरतथा डॉक्टरेट तक के कोर्स सञ्चालित
किये जाते हैं । अडरग्रेजुएट कोर्स 12वीं के बाद किया जा सकता है ।यहाँ
फैशन डिजाइनिग के शॉर्टकोर्स प्रोग्राम्स भी सचालित होते हैं।

प्रमुख संस्थान

नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ फैशन टेक्नोलॉजी,
दिल्ली/मुंबई/बेंगलुरु
http://nift.ac.in
नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन,
अहमदाबाद/बेंगलुरु www.nid.edu
सिम्बायसिस इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन, पुणे
http://sid.edu.in

2020-05-27

Company Secretary Kya Hota Hai? Company Secretary Me Career Kaise Banaye Ya Kaise Bane? Company Secretary Jobs, Course, Salary, Exam syllabus, Qualification, Course Details In India Jankari Hindi Mein

Company Secretary(C.S)

सरकार की ओर से पांच करोड़ से ऊपर के शेयर वाली कंपनियों के लिए फॉर्म 22 ए अनिवार्य किए जाने के बाद पिछले एक साल में कंपनी सेक्रेटरी (सीएस) की डिमांड में तेजी आई है। अपनी कानूनी और प्रशासनिक जिम्मेदारियों को संभालने के लिए आज हर कंपनी को एक पूर्णकालिक सीएस चाहिए, लेकिन इंडस्ट्री की जरूरत के मुताबिक इन कंपनियों को उतने प्रशिक्षित सीएस नहीं मिल पा रहे हैं, जितने की इनको आवश्यकता है। मार्केट में सीएस की आज कमोबेश वैसी ही डिमांड देखी जा रही है, जैसी जुलाई, 2016 में जीएसटी आने के बाद से सीए और एकाउंट्स के प्रोफेशनल्स की है। यही वजह है कि पिछले एक साल में इनके सैलरी पैकेज में भी काफी बढ़ोत्तरी हुई है।

  • The Institute Of Company Secretary Of India द्वारा कुछ नये बदलाव किये गये है। जिससे यह कोर्स करना काफी आसान हो गया है।

क्या है नया नियम:

भारत सरकार के कॉरपोरेट मामलों के मंत्रालय द्वारा नियम-कायदों को सख्ती से लागू करने के लिए पिछले साल फॉर्म आइएनसी-22 ए (एक्टिव) शुरू किया गया। इस नए नियम के तहत भारत में हर वह कंपनी, जो 5 करोड़ या इससे अधिक का बिजनेस कर रही है, उसे एक परमानेंट कंपनी सेक्रेटरी रखना जरूरी कर दिया गया है, ताकि वह ई-फाइलिंग की प्रक्रिया को निभा सके। चूंकि ये प्रोफेशनल इस काम के लिए कुशल माने जाते हैं, इसलिए बोर्ड, काउंसिल, एसोसिएशन, फेडरेशन, अथॉरिटी या फिर आयोग द्वारा संचालित संस्थाओं को आज एक कुशल कंपनी सेक्रेटरी की जरूरत पड़ रही है। यही वजह है कि आजकल एक ओर जहां कंपनी सेक्रेटरी की डिमांड बढ़ रही है, वहीं इस कोर्स को करने वालों की संख्या में भी बढ़ोतरी देखी जा रही है। 

सीएस की ज्यादा डिमांड:

द इंस्टीट्यूट ऑफ कंपनी सेक्रेटरीज ऑफ इंडिया (आइसीएसआइ) के अनुसार, देश में इस समय लगभग 50 हजार क्वालिफाइड सीएस हैं और तकरीबन 4 लाख छात्र विभिन्न स्तर पर इसकी पढ़ाई कर रहे हैं।

लेकिन इसके उलट जरूरतमंद कंपनियों की संख्या 89,623 के लगभग है, जहां अपने रूटीन के कामकाज के लिए उन्हें कंपनी सेक्रेटरी की आवश्यकता है। मार्केट में डिमांड और सप्लाई के इसी गैप के कारण पहले की तुलना में सीएस को अपनी सेवाओं के लिए आजकल काफी अच्छा भुगतान भी मिलने लगा है। कंपनी सेक्रेटरी के लिए आजकल सबसे अधिक जॉब के मौके बैंक, वित्तीय संस्थान, स्टॉक एक्सचेंज, कंपनी लॉ बोर्ड के अलावा निजी-सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों में हैं। इसके अलावा, कंपनी सेक्रेटरी बतौर सलाहकार भी प्रैक्टिस कर सकते हैं। 

सीएस के कार्यक्षेत्र: 

निजी और सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों में कंपनी सेक्रेटरी का पद बड़ा अहम होता है। आमतौर पर एक कंपनी सेक्रेटरी कंपनी की कानूनी और प्रशासनिक जिम्मेदारियों को संभालने का काम करते हैं। वे बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स और चेयरमैन के बीच की एक कड़ी होते हैं, जो उन्हें सभी जरूरी सूचना देने के अलावा उन्हें उनकी जिम्मेदारियों के बारे में ध्यान दिलाते हैं, ताकि कंपनी का कामकाज सुचारु रूप से चलता रहें और कंपनी आगे बढ़ सके। सीएस कंपनी के बोर्ड ऑफ गवर्नेस, शेयर धारकों, सरकार और अन्य एजेंसियों के बीच भी तालमेल बनाए रखने का काम करते हैं। इन प्रोफेशनल्स को कैपिटल मार्केट, कॉरपोरेट लॉ, सुरक्षा कानून और कॉरपोरेट गवर्नेस आदि की अच्छी जानकारी होती है, इसलिए कंपनी के कानूनी फैसलों में इनकी बड़ी भूमिका देखी जाती है। साथ ही कंपनी सेक्रेटरी मैनेजमेंट और फाइनेंस के मामले में भी काफी कुशल होते हैं। कुल मिलाकर, कंपनियों में इनका रोल कॉरपोरेट प्लानर या रणनीतिक मैनेजर के रूप में होता है। इतना ही नहीं, सीएस में सफलता के लिए व्यक्ति की कम्युनिकेशन स्किल भी बहुत अच्छी होनी चाहिए।

अब सीएस प्रोग्राम तीन साल का:

 पहले की तुलना में सीएस प्रोग्राम करना अब बिल्कुल भी कठिन नहीं रहा। जहां पहले 5 प्रतिशत छात्र भी यह परीक्षा पास नहीं कर पाते थे, वे अब प्रोग्राम में हुए बदलाव के बाद फाइनल में फेल होने के बाद भी सर्टिफिकेट प्राप्त कर सकेंगे। बीते दिनों आइसीएसआइ द्वारा सीएस प्रोग्राम की अवधि भी 4 साल से घटाकर 3 साल कर कर दी गई है। यानी 3 साल में ही आप यह प्रोग्राम कर सकेंगे। इससे आपका पूरे एक साल का समय बचेगा। पहले यह कोर्स करने के लिए, इसकी तीन स्तरीय (फाउंडेशन, एग्जीक्यूटिव एवं प्रोफेशनल प्रोग्राम) परीक्षाओं को पास करने में 4 साल का समय लग जाता था, लेकिन फाउंडेशन एग्जाम की जगह अब कंपनी सेक्रेटरीज एग्जीक्यूटिव एंट्रेंस टेस्ट (सीएसईईटी) होगा। एक अप्रैल से लागू हो रही नई व्यवस्था के तहत यह टेस्ट पास करने वाले छात्रों को सेक्रेटेरियल एग्जीक्यूटिव का प्रमाणपत्र दिया जाएगा। दरअसल, अभी तक केवल सीएस प्रोफेशनल पास करने वालों को ही यह डिग्री दी जाती थी। किसी भी स्ट्रीम से 12वीं पास युवा आइसीएसआइ द्वारा संचालित इस कोर्स के लिए आवेदन कर सकते हैं। इस कोर्स के लिए न्यूनतम उम्र 17 साल होनी चाहिए। 

प्रवेश परीक्षा के लिये :

सीएस प्रोग्राम के लिए सीएसईईटी के रूप में होने वाली आगामी ऑनलाइन परीक्षा या  आप Website को चेक करते रहे। इच्छुक अभ्यर्थी इस अधिक जानकारी के लिए वेबसाइट https://www.icsi.edu देखें।

टाइम गैप घटने से बढ़ेगी अपॉर्म्युनिटी 

सीएस प्रोग्राम में बदलाव के बाद स्टूडेंट अब 12वीं का एग्जाम देने के तुरंत बाद ही यह एग्जाम दे सकते हैं। पहले इस एग्जाम के एलिजिबिलिटी 12वीं एग्जाम के 8 महीने बाद होती थी। इसलिए यह कोर्स करने में एक साल का समय एक्स्ट्रा लग जाता था। अब यह टाइम गैप घट जाने से आने वाले दिनों में इस क्षेत्र अपाच्युनिटी बहुत बढ़ जाएगी, क्योंकि जितने  समय में आप ग्रेजुएशन करते हैं, उतने ही समय  में आपके हाथ में एक प्रोफेशनल डिग्री होगी। फिलहाल, जिन स्टूडेंट की लॉ में रुचि है, बेहतर लॉजिकल एबिलिटी रखते हैं, उनके लिए यह  लिए  बहत अच्छा फील्ड है।। 

स्टॉक ब्रोकिंग में आकर्षक विकल्प :

स्टॉक मार्केट या स्टॉक ब्रोकिंग का फील्ड इन दिनों एक आकर्षक करियर के रूप में उभरकर सामने आया है, जिसमें ये प्रोफेशनल्स अपने क्लाइंटस/कस्टमर के लिए स्टॉक मार्केट में स्टॉक की खरीद बिक्री करते हैं। अपने क्लाइंटस को स्टॉक, बॉन्ड,डेरिवेटिव्स आदि में निवेश के लिए परामर्श भी देते हैं। ऑल इंडिया सेंटर फॉर कैपिटल मार्केट स्टडीज,स्टॉक एक्सचेंज ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट, इंस्टीट्यूट ऑफ फाइनेंशियल ऐंड इंवेस्टमेंट प्लानिंग की तरह ही इंस्टीट्यूट ऑफ कंपनी सेक्रेटरीज ऑफ इंडिया द्वारा भी आप स्टॉक ब्रोकिंग का कोर्स करके इस फील्ड में एंट्री कर सकते हैं। इसे करने के बाद युवा ब्रोकरेज फर्स, इंश्योरेंस कंपनीज, बैंक, इनवेस्टमेंट बैंक, पेंशन फंड या किसी फाइनेंशियल इंस्टीट्यूट में अपने लिए जॉब तलाश सकते हैं।

2017-02-11

Waste Management Me Career Kaise Banaye | waste management jobs india in hindi | salary | opportunities | job description

वेस्ट मैनेजमेंट कैरियर कैसे बनाए इन हिंदी या  वेस्ट मैनेजमेंट इन इंडिया के बारे में



 Waste Management क्या होता है?

India में Waste की मात्रा तेजी से बढ रही है। यही वजह है कि Waste Treatment  का काम बडे पैमाने पर शुरू हुआ है। Government And Non-Government स्‍तर पर Waste Treatment  के क्षेत्र में Jobs के ढेरों अवसर है।

    Waste Management  के क्षेत्र से जुडकर आप अपने साथ-साथ लाखों लोगों का कल संवार सकते है।

    इस क्षेत्र से जुडकर आप अच्‍छा Career बनाने के साथ ही Environment को साफ रखने को साफ रखने में भी योगदान कर सकते है।

    Metro City  के अलावा छोटे City में Garbage की Problem बढ रही है। Population बढने से भारी मात्रा में घरों से Garbage निकलता है। वही, Factories से भी बडे पैमाने पर Garbage सहित Waste Material  बाहर निकलते है, जिससे Environment को भारी क्षति पहुंचती है। इसलिए Environment Pollution को कम करने के लिए Waste Material  को Recycle करना जरूरी है। इन चीजो को Recycle कर दोबारा इस्‍तेमाल में लाने का काम Waste Management  के अंतर्गत आता है।

 

आंकडे बोलते है

30% घरेलू Waste को ही भारत में अभी Recycle कर पाने की क्षमता है

05 सालों इस क्षेत्र में बढेगी संभावनाएं

Environment Pollution कम करने के लिए Waste Material को Recycle करना है ‘Waste Management‘

 

Waste Management Environment प्रंबधन व Protection का एक आधार स्‍तंभ है। इसके तहत Environment Science या Environment Protection से संबंधित कुछ प्रमुख क्षेत्रों में काम किया जा सकता है। फिलहाल India में घरेलू Waste का केवल 30% प्रतशित ही Recycle करने की क्षमता है। इसमें ज्‍यादातर Waste Material Electronics तथा Plastic का होता है। Mumbai का धारावी, Uttar Pradesh का मुरादाबाद और Delhi का मुंडका इसके Main केंन्‍द्र है।

 

Opportunity

 

 जैसे-जैसे Country में Garbage की Problem बड रही है, वैसे-वैसे Waste Management  के क्षेत्र में संभावनाएं बढ रही है। Environment को बचाने और Waste का सही इस्‍तेमाल करने के लिए Nation में तेजी से खुल रही Waste Treatment  Agency ने इस क्षेत्र में रोजगार के ढेरों अवसर सृजित कर दिए है। Waste Management  न सिर्फ Waste Material  के दोबारा प्रयोग में लाने के बारे में जानकारी देता है, बल्कि प्रोफेशनल्‍स को उस Field में स्‍थापित करने के लिए कई अन्‍य तरह की Career बनाने के लिए प्रकृति के प्रति लगाव होना बहुत जरूरी है।

 

शुरू-शुरू में Students को ये सारी चीजे अटपटी लगेगी, लेकिन जैसे-जैसे उनका मन इसमे रमता जाएगा, वे इस Profession का भरपूर मजा उठा सकेगें । यह क्षेत्र मूलत:  Environment Science और उसके आसपास ही घूमता है। इस क्षेत्र में चुनौतियां भी कम नही है। आपको Mess में र‍हकर समाज को खुली हवा देनी होती है। ऐसे में आपकी लगन ही आपको आगे ले जाती है।

Course Details

Waste Management  को Environment Science के Course में एक Subject के रूप में शामिल किया गया है। इसमें तीन साल के Bachelor Course BSc / BE In Environmental Science उपलब्‍ध है। BSc तथा BE में प्रवेश Science Subjects सहित 10+2 के बाद मिलता है। M.S.C M.Tech में प्रवेश Environmental Science में BSc अथवा B.Tech करने के बाद मिलता है। कुछ Institute में MPhil तथा PhD Course भी उपलब्‍ध है।  Waste Management  में One Years  PG Diploma Course भी किया जा सकता है ।


Main Institute


Indian Institute Of Environmental Management,Mumbai

www.siesiiem.edu.in

international institute of waste management bhopal

iiwm.in

Ram Manohar Lohia Avadh Vishwavidyalaya Faizabad

www.rmlau.ac.in

Guru Jambheshwar University Hisar

www.gjust.ac.in

Rajasthan University Jaipur

www.uniraj.ac.in

Indraprastha University New Delhi

www.ipu.ac.in


Salary

शुरूआत में 20 से 25 हजार रूपये प्रतिमाह Salary मिल जाती है।

2017-02-02

Digital Platform Content Writer Me Career Kaise Banaye

Digital Platform Content Writer  Me Career Kaise Banaye?




भारत मे जैसेजैसे इंटरनेट का इस्तेमाल बढ़ रहा है। वैसे वैसे डिजिटल साक्षारता भी बढ़ रही है। डिजिटल प्लैटफ़ार्म पर कंटेन्ट राइटर की इन दिनो खूब मांग है। 

आपको लिखने का शौक है? जिस सब्जेक्ट पर लिखटे है, लोग तारीफ कराते है? आपकी कहानी मे रचनात्मक, नयापन और रोचकता झलकता है,  तो फिर क्यू नहीं आप लिखने को ही पेशा बना लेते? यदि आप अलग-अलग सब्जेक्ट पर बखूबी जानकारी है। आज ज़्यादातर लोग अपनी अपनी अपनी विशेषज्ञता के आधार पर अलग अलग मुद्दो पर लेख या कोई लेख या जानकारीयों को लिखकर पार्ट टाइम या फुल टाइम कंटैंट राईटर बन रहे है। चाहे वह डॉक्टर हो, वकील हो या दूसरे किसी सब्जेक्ट का जानकार हो।

Content Writer Kya Hota Hain?

Content Writing Ka Arth Hota Hain Har Tarah Ke Subjects Ke Liye Lekhan Karna. Halanki Pratyek Person Har Subject Me Nahi Likh Sakta, Isliye Log Apni Dakshta(Capicity) Ke Adhar Par Lekhan Works Karate Hain. Ab Tak To Log Patra-Magazine Aadi Ke Liye Hi Likhate The, Lekin Aaj Digital Platform Par Bhi Content Writing Ka Chalan Kafi Badh Gaya Hain. Examples Ke Taur Par, Kuchh Log Bishesh Tarah Ki Online Websites Ya Media Websites Ke Liye Likhate Hain,To Koi Kisi Chij Ki Marketing Hetu E-Brashars, E-Advertises Ke Liye Bhi Rachanatmak Lekhan Karate Hain. Koi Blogs Ke Liye Lekhan Kary Karta Hain. Ye Sabhi Prakar Ke Lekhan Content Writing Ka Hissa Hain Aur Jo Lekhan Karta Hain, Vahi 'Content Writer' Kahlata Hain.

How Does Make Content Writer?


Koi Bhi Person Digital Content Writing Me Apna Future Bana Sakta Hain.Isake Liye Apko Kisi Shaikshik Degree Ki Avashykata Nahi Hain. Halanki, Yadi Aap Ise Apna Main Pesha Banana Chahate Hain, To Apke Pas Kam Se Kam Kisi Bhi Kshetra Me Graduation Ki Degree Hona Chahiye. Yadi Apne English Sahity Me Graduation Ya Post Graduation Kiya Hain, Tab Yah Shaikshik Eligibility Apke Liye Fayademand Shabit Ho Sakati Hain. Aap Apni Shaikshin Eligibility Ki Prishthbhumi Se Alag Bhi Ek Achchhe Degital Content Writer Bana Ja Sakata Hain. Yadi Apka Madhyam Hindi Hain, To Aap Hindi Me Content Writing Kar Sakate Hain. Yahi Aap Ek Se Jyada Languages Ki Jankari Rakhate Hain, Tab Aap Ek Anuvadan Bhi Ban Sakate Hain.

Content Writing Ke Kshetra


Content Writing Ka Koi Ek Kshetra Nahi Hain. Aj Jitane Subject Prachalan Me Hain,Utane Hi Subjects Ki Content Writing Ho Rahi Hain. History, Economics, Politics Se Lekar Technology, Koi Bhi Kshetra Isase  Achhuta Nahi Hain. Koi Bhi Pratyek Subject Par Nahi Likh Sakata Hain, Lekin Kisi Ek Subject Me Dakshata Hasil Kar, Ek Achchha Content Writer Bana Ja Sakata Hain. Agar Aap Academic Kshetra Me Hain, Tab Bhi Aap Apne Subject Par Vibhinn School-Colleges Ki E-Magazine,  Kitabo Aadi Ke Liye Likh Sakate Hain. Isake Alava Chikitsa, Politics, Entertainment, Adhyatmk, Rojgar, Game, Education Kisi Bhi Subject Me Content Writing Ki Ja Sakati Hain. Content Writing Ko Rachnatmak Kshetra Se Bhi Joda Jata Hain. Filmo, Vibhinn Prakar Ke Media Madhyamo, Advertise Worlds, Social Media Aur Blog Aadi Content Writing Ke Liye Rachanatmak Kshetra Hain,  Jaha Paise Kamane Ki Apar Sambhavnaye Hain.

Salary Package




25-30 Thousands Rupaye Every Months Content Writer Kama Sakate Hain.

3-4 Lakh Rupaye Years Aay Ads Agency Aadi Me Ho Sakati Hain.

Content Writer Ke Pas General Graduation Ya Post Graduation Ki Degree Ho, Lekin Likhane Ke Andaj Me Nayapan, Rachanatmakta Nahi Hogi, To Vah Achchha Content Writer Nahi Ban Sakata. Agar Aap Isi Kshetra Me Apna Career Banana Chahate Hain, To Patrakarita Me Graduation Ya Post Graduation Kar Sakate Hain. Isake Alava Content Writer Ko Kisi Bhi Ek Language Par Achchhi Pakad Honi Chahiye. Vah Jis Kshetra Ke Liye Likh Rha Hain, Usake Bare Me Achchhi Jankari Bhi Honi Jaruri Hain. Use Roj Badalati Paristithiyo Aur Akano Ki Janakari Honi Chahiye. Sath Hi Use Pata Hona Chahiye Ki Aj Ka Pathan Kya Pasand Kar Rha Hain? Usi Ke Adhar Par Yadi Lekhan Kiya Jaye, To Usake Lekhan Ko Badhe Level Par N Kewal Padha Jata Hain, Balki Us Kshetra Me Usake Lekhan Mang Bhi Badhati Hain.

2017-01-31

Broadcasting Management Ya Engineering Career Kaise Banaye | salary | opportunities | definition | description

Broadcasting Management And Programming Me Career Kaise Banaye?

🙋Topic: You Need To Know In This Blog

  • Broadcast Engineering Ka Kam Kya Hota Hain?

  • Broadcast Management Syllabus Aur Eligibility Ke Bare Me

  • Broadcast Management Salary Package

  • Self Qualities

  • Broadcast Management Ke Institute Of Education

  • Broadcast Management Me Job Opportunities


एक बेहतर Broadcasting Engineer वही Students बन सकता है, जिसकी Maths, Physics और Electronic आदि क्षेत्रो में अच्‍छी पकड हो और जानकारी हो।


😕 Broadcasting Management Definition Kya Hota Hain?


    सूचना क्रातिं में Broadcasting एक अहम माध्‍यम साबित हुआ है। Broadcasting (प्रसारण) एक प्रकार का माध्‍यम है, जिसकी मदद से Audio और Video Content को Electromagnetic Radiation(Radio Waves) के माध्‍यम से Satellite तक पहुचाते है और वहां से वापस आकर यह Content Radio या Television उपकरणो में पहुचता है। इसके लिए कई तरह के उपकरणो की जरूरत होती है, जिसमें Camera, Microphones, Sequitur, Editing System, Storage System, Studio Room इत्‍यादि। इस पुरी प्रक्रिया को Broadcasting Technology कहांं जाता है और इसमें काम करने वाले को Broadcast Engineer कहते है।


👉Broadcast Management /Engineering Kya Hota Hain?

    Broadcast Engineering को Electrical Engineering की एक उपर का Branch माना जाता है।Engineering की ज्‍यादातर Branches Electronics और Communication Engineering, Computer Engineering, Information Technology और Audio Engineering Broadcast Engineering से जुडी  हुई है। Radio Frequency(R.F) Engineering और Audio Engineering, Electric Engineering के दो प्रमुख क्षेत्र है, जो Broandcast Engineering से जुडे हुए है।

💁Broadcast Engineering Ka Kam Kya Hota Hain?

    Broadcast से जुडे पेशेेवरो (Professional) को Broadcast Engineers या Technicians कहा जाता है। Broadcast Engineer या Technician का कार्य Radio और Television स्‍टेशनों की प्रसारण तकनीको के साथ संचालन से होता है। Broadcast Engineers एक चेन की तरह कार्य करते है, जिनकी कार्य पद्ति Studio से शुरू होकर Transmitter पर खत्‍म होती है। Broandcast Technician प्रसारण Signals का Sound और Video उपकरणो की मदद से सही तरह से संचालन बनाये रखते है। इसके अलावा Broadcast Engineer प्रसारण की कई गुणवक्‍ता को बनाये रखने का कार्य भी करते है।

🙇Broadcast Management Syllabus Aur Eligibility Ke Bare Me

    Broadcast Engineer बनने के लिए  Math और  Physics Subject के साथ 12 पास होना अनिवार्य है। भारत में Broadcast Engineering में अलग से Graduation Related पाठ्ययक्रम नही है। Electronic Engineering, Electronic And Communication Engineering, Computer Engineering, Information Technology और Audio Engineering Related पाठ्ययक्रम को करने वाले इस क्षेत्र में अपना Career बना सकते है। Engineering में Graduation करने के बाद Post Graduation में  Broandcast Engineering में Specialization प्राप्‍त कर सकते है या किसी Broadcast Institute के साथ जुडकर Career की शुरूआत कर सकते है। हाल ही के साल में कई शिक्षण संस्‍थान में PG Diploma और Certificate Star के पाठ्ययक्रम का संचालन भी शुरू किया है। इस  Institute में Broadcast Stationo और किसी भी Electronic Media मे Technical Related Knowledge के बारे में जानकारी दी जाती है।

💰Broadcast Management Salary Package

20-25 हजार रूपये प्रतिमाह Career की शुरूआती में Salary मिलती है।

50-60 हजार रूपये प्रतिमाह एक अनुभवी Broadcast Engineer कमाता है।

👌Self Qualities

    Broadcast Engineering में Career बनाने के लिए  Math, Physics और Electronics आदि  क्षेत्रो में अच्‍छी जानकारी होनी चाहिए। उनमें Broadcasting स्‍टेशनों में Computer और Network आदि के संचालन का पता होना चाहीए। अलग-अलग Station की जरूरत के आधार पर Broadcast Engineer या Technologist को  आधुनिक Digital Broadcasting से लेकर पांरम्‍परीक Broadcasting जैसेी विभीन्‍न तकनीको की जानकारी होनी चाहीए।

🏫Broadcast Management Ke Institute Of Education

1. Symbiosis Institute Of Media And Communication, Pune

    www.simc.edu

2. Jamiya Miliya Isalamiya (JMI), New Delhi

    jmi.ac.in

3. Indian Institute Of Technology, Delhi

    www.iitd.ac.in

4. Netaji Subhash Institute Of Technology, Delhi

    www.nsit.ac.in

🙉Broadcast Management Me Job Opportunities

    Environment Industry में हो रहे Development के कारण  Broadcast Engineering एक आकर्षक  Career क्षेत्र बनता जा रहा है। Broadcasting के Disigtigation, IPTV और Mobile TV जैसे New Media की नई तकनीको के कारण Broadcast Media Industry में Broadcast Engineers की मांग लगातार बढ रही है। इसमे TV, Radio Station, Channels, Pop Cards आदि में नौकरी कर सकते है।